हिमाचल प्रदेश विधानसभा में आज क्या हुआ

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शिमला : हिमाचल प्रदेश विधानसभा की कार्यवाही आज महाशिवरात्रि पर्व के अवकाश के बाद सुबह 10 बजे शुरू हुई। सदन की कार्यवाही शुरू होते ही राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव को लेकर चर्चा शुरू हुई, जिसमें विपक्षी कांग्रेस की ओर से विधायक जगत सिंह नेगी और सुखविंद्र सिंह सुक्खू के अलावा माकपा विधायक राकेश सिंघा ने भाग लिया। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने साढ़े 15 घंटे तक चली इस चर्चा का उत्तर दिया। मुख्यमंत्री जिस समय चर्चा का उत्तर दे रहे थे, उसी समय नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्रिहोत्री सहित अन्य विपक्षी सदस्यों ने सदन में खड़े होकर नारेबाजी शुरू कर दी है और राज्यपाल अभिभाषण को तथ्यों के विपरीत बताते हुए सदन के वाकआउट किया। विधानसभा में इसके बाद नियम-130 के तहत 2 मामलों भानूपल्ली-बिलासपुर-बेरी ब्रॉडग्रज रेललाइन परियोजना कार्यालय के कार्यालय को बिलासपुर में स्थापित करने और विक्रमादित्य सिंह सहित अन्य सदस्यों ने शिमला स्मार्ट सिटी परियोजना के अंतर्गत हो रहे विकासात्मक कार्यों से संबंधित मामला उठाया।
सदन की कार्यवाही शुरू होने के बाद राज्यपाल के अभिभाषण पर हुई चर्चा में भाग लेते हुए कांग्रेस विधायक जगत ङ्क्षसह नेगी ने सरकार पर बढ़ती महंगाई को रोकने में नाकाम रने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि यूक्रेन में फंसे बच्चों की सकुशल स्वदेश वापसी का मामला भी उठाया। जिस समय जगत सिंह नेगी चर्चा में भाग ले रहे थे, उस दौरान उनकी सत्तापक्ष के कुछ सदस्यों से तीखी नोंक-झोंक हुई, जिससे सदन का माहौल गरमा गया। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार के कामकाज से वरिष्ठ भाजपा नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री शांता कुमार भी दुखी है। कांग्रेस विधायक सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने आरोप लगाया कि सरकार के साढ़े 4 साल के कार्यकाल में गवर्नेस नाम की चीज देखने को नहीं मिली है। उन्होंने कहा कि सुंदरनगर में अवैध शराब का मामला सामने आने प्रदेश में शराब माफिया की सक्रियता को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार और मंत्रिमंडल खज्जल नजर आता है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सत्ता में आने पर पुरानी पैंशन को बहाल करेगी। उन्होंने आरोप लगाया कि वर्तमान सरकार के समय सराज और धर्मपुर विधानसभा क्षेत्र के लोगों को रोजगार मिल रहा है। माकपा विधायक राकेश सिंघा ने कहा कि राज्यपाल के अभिभाषण में सच्चाई नहीं है। वर्तमान सरकार ने तो किसानों की आय को डबल कर पाई और न ही बेरोजगारी को बढऩे से रोक पाई। उन्होंने कहा कि यदि सरकार कर्मचारियों पर राइडर की शर्त लगती है, तो इसका अमल विधायक, मंत्री और मुख्यमंत्री पर भी होना चाहिए।
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने राज्यपाल अभिभाषण पर हुई चर्चा का उत्तर देते हुए कहा कि विपक्ष का यह कहना गलत है कि राज्यपाल अभिभाषण तथ्यों के विपरीत है। उन्होंने विपक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा कि उनकी हालत आज उस छोटे बच्चे की तरह है, जो बाजार में जाते समय मां से खिलौने की मांग करती है। जब बच्चे को खिलौना नहीं मिलता, तो वह सडक़ पर लेट जाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार ने मंत्रिमंडल की पहली ही बैठक में 70 साल से ऊपर के लोगों को पैंशन की सुविधा व बेजुबान गौवंश के बारे में सोचा। उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार के समय जहां 6 हजार गौवंश गौ सदन में था, वहीं आज 20 हजार को आश्रय मिला है। उन्होंने कहा कि सरकार ने एन.पी.एस. कर्मचारियों की ओल्ड पैंशन स्कीम को लागू करने की मांग को लेकर मुख्य सचिव की अध्यक्षता में कमेटी गठित की है, जिससे बीच का रास्ता निकालने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार आंदोलन के नाम पर डरने वाली नहीं है। उन्होंने कहा कि कर्मचारियों को विरोधी दल के बहकावे में आने की बजाए आंदोलन छोडक़र वार्ता का रास्ता खोजने के लिए आगे आना चाहिए। उन्होंने धरने पर बैठे करुणामूलक आश्रितों से आंदोलन समाप्त करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि सरकार ने करुणामूलक आश्रितों के लिए चतुर्थ श्रेणी में रोजगार देने का एक रास्ता खोजा है और दूसरे विकल्प पर सिलसिलेवार बात आगे बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार ने पी.टी.ए. और एस.एम.सी. से लेकर हर वर्ग के कर्मचारियों को राहत प्रदान की है। इसी तरह सरकार के 262 जनमंच कार्यक्रमों के माध्यम से 48,478 समस्याओं का निवारण मौके पर हुआ है। हिमाचल प्रदेश आज हर घर को चूल्हा देने वाला पहला राज्य है। सहारा योजना और मुख्यमंत्री स्वाबलंबन योजना से सरकार ने राहत प्रदान की है। आज के समय में 2,231 मुख्यमंत्री स्वाबलंबन योजना से जुडक़र दूसरों को रोजगार दे रहे हैं। मुख्यमंत्री हैल्पलाइन नंबर-1100 से लोगों की समस्या का निवारण हो रहा है। इसी तरह हिमाचल प्रदेश आज जहरमुक्त प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने वाला अग्रणी राज्य बनकर सामने आया है। उन्होंने कहा कि विपक्ष कर्ज लेने के नाम पर गुमराह करता है। उन्होंने याद दिलाया कि वर्ष, 2012-13 से वर्ष, 2017-18 के दौरान प्रदेश पर 4,800 करोड़ रुपए का कर्ज था। पूर्व सरकार ने सत्ता में रहते हुए 28,707 करोड़ रुपए कर्ज लिया, जिसमें 67 फीसदी ग्रोथ थी। इसी तरह वर्तमान सरकार के कार्यकाल में कर्ज 63,200 करोड़ रुपए पहुंचा है, जिसमें 32 फीसदी ग्रोथ है। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार के समय में कोविड-19 जैसे प्रतिकूल हालात रहे हैं। इस दौरान स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करते हुए ऑक्सीजन प्लांट की संख्या 2 से बढ़ाकर 48 की गई तथा पूर्व सरकार में उपलब्ध 30 वैंटिलेटर कीसंख्या को बढ़ाकर 1,014 किया गया और इस समय 982 वैंटिलेटर काम कर रहे हैं। उन्होंने सुंदरनगर में शराब की घटना को दुखद बताते हुए कहा कि सरकार ने जो कार्रवाई की है, उसे लंबे समय तक याद रखा जाएगा। उन्होंने कहा कि ऊना विस्फोट के मुख्य आरोपी रोहित पुरी को एस.आई.टी. की ओर से मुंबई में पकड़ा गया है। उन्होंने कहा कि यूक्रेन में फंसे 108 हिमाचली वापस लाए गए हैं तथा केंद्र सरकार के सहयोग से शेष बचे लोगों की सुरक्षित घर वापसी के प्रयास किए जा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने खुद यूक्रेन में फंसे बच्चों और उनके अभिभावकों से बात की है। उन्होंने सदन की कार्यवाही के बीच कांग्रेस विधायकों के वाकआउट विपक्ष की मजबूरी बताया। उन्होंने कहा कि विपक्ष के पास तथ्यों को सुनने की क्षमता नहीं है। उन्होंने पर्यटन तथा अन्य क्षेत्रों में सरकार के योगदान की सराहना की। उन्होंने कहा कि अटल टनल रोहतांग के पोर्टल को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने के लिए मामला फॉरेस्ट क्लीयरैंस को भेजा गया है।
भाजपा विधायक सुभाष ठाकुर ने विधानसभा में नियम-130 के तहत भानूपल्ली-बिलासपुर-बेरी ब्रॉडग्रज रेललाइन परियोजना कार्यालय के कार्यालय को बिलासपुर में स्थापित करने संबंधी मामला उठाया। उन्होंने कहा कि प्रदेश के लोग आज भी बी.बी.एम.बी. और पौंग बांध के विस्थापित विस्थापन का दर्द झेल रहे हैं तथा इस तरह की पुनर्रावृत्ति भानूपल्ली-बिलासपुर-बेरी रेललाइन निर्माण में नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में कई लोग ऐसे हैं, जो रेललाइन निर्माण से फिर विस्थापित होने जा रहे हैं और ऐसे लोगों के हितों का ध्यान रखा जाना चाहिए। विधायक जीतराम कटवाल ने कहा कि झंडूता विधानसभा क्षेत्र में फोरलेन का काम चल रहा है और ऐसे में वहां पर भी रेलवे स्टेशन बनने चाहिए। उन्होंने इस बात पर सहमति जताई कि जो हाल बी.बी.एम.बी. और पौंग बांध विस्थापितों के साथ हुआ, ऐसी स्थिति रेलवे लाइन से विस्थापित होने वाले लोगों के साथ नहीं होनी चाहिए। विधायक होशयार सिंह ने कहा कि जिस क्षेत्र से रेलवे लाइन गुजरे वहां पर अंडरब्रिज की व्यवस्था होनी चाहिए, ताकि भविष्य में सडक़ एवं पानी की लाइनों को बिछाते समय समस्या न आए। उन्होंने कहा कि रेलवे विभाग आज भी एक पानी की पाइप बिछाने के लिए 70 लाख रुपए मांगता है। उद्योग एवं परिवहन मंत्री बिक्रम सिंह ने चर्चा का उत्तर देते हुए कहा कि इस मामले में जो भी बात केंद्र सरकार से उठाने की होगी, उसमें राज्य सरकार मदद करेगी। उन्होंने कहा कि वर्तमान में रेलवे का कार्यालय बिलासपुर में ब्यास सदन में पहले से मौजूद है।
सदन में इसके बाद नियम-130 के तहत शिमला स्मार्ट सिटी परियोजना के अंतर्गत हो रहे विकासात्मक कार्यों से संबंधित मामलों को लेकर चर्चा हुई। चर्चा में भाग लेते हुए विधायक जगत सिंह नेगी ने स्मार्ट सिटी प्रोजैक्ट में घोटाले होने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि आज 20 लाख रुपए का डंगा 40 लाख रुपए में लग रहा है। विधायक विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि स्मार्ट सिटी में नियमानुसार काम नहीं हो रहा है। साथ ही नगर निगम शिमला अभी तक अपना दफ्तर नहीं बन पाया है। विधायक इंद्रदत्त लखनपाल ने कहा कि मुख्यमंत्री व विधायक के संपर्क करने पर तो काम होंगे, लेकिन आम आदमी के कहने पर नक्शे पास नहीं होते। माकपा विधायक राकेश सिंघा ने कहा कि स्मार्ट सिटी बनाने का फैसला हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट के फैसले के तहत हुआ है। उन्होंने आरोप लगाया कि टाउनहाल को निजी कंपनी को बेचने की योजना है। विधायक बलवीर सिंह वर्मा ने कहा कि शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज की अगुवाई में स्मार्ट सिटी प्रोजैक्ट पर बेहतरीन कार्य हो रहा है। विधायक सुखविंद्र सिंह सुक्खू न कहा कि इस प्रोजेक्ट के तहत जितनी भी रिटेनिंग वॉल लगी, उसमें अधिक धनराशि व्यय हुई है तथा इसकी जांच होनी चाहिए।
शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने सदन में हुई चर्चा का उत्तर देते हुए कहा कि मार्च के बाद स्मार्ट सिटी प्रोजैक्ट का काम दिखना शुरू होगा। उन्होंने कहा कि सारा काम पूर्ण पारदर्शिता के साथ हुआ है। ऐसे में यदि कोई गड़बड़ी पाई जाती है तो जांच और कार्रवाई भी होगी।

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