मंत्रिमंडल : कर्मचारी की मृत्यु पर परिजनों को मिलेगी 1 से 1.5 लाख तक राहत
कर्मचारियों को आवास निर्माण व खरीद के लिए मिलेगा 15 लाख ऋण
मैडीकल डिवाइस पार्क को स्वीकृति, 3 साल के लिए बनेगा हिमकेयर कार्ड
शिमला : राज्य के कर्मचारी व पैंशनरों को अभी संशोधित वेतनमान के आधार पर मिलने वाले एरियर को प्राप्त करने के लिए थोड़ा इंतजार करना पड़ेगा। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में यहां आयोजित मंत्रिमंडल बैठक में इसे सोमवार को स्वीकृति नहीं मिल पाई। हालांकि मंत्रिमंडल ने कर्मचारियों को राहत प्रदान करने संबंधी अन्य निर्णय लिए हैं। इसके तहत नियमित कर्मचारी की मृत्यु की स्थिति में उसके परिवार को राहत के रुप में न्यूनतम 55,000 रुपए और अधिकतम 1.50 लाख रुपए (एक्सग्रेशिया ग्रांट) मिलेंगे। इसी तरह अनुबंध पर सेवाएं देने वाले कर्मचारियों के परिजनों के लिए न्यूनतम 35,000 रुपए और अधिकतम 1 लाख रुपए की राहत राशि प्रदान की जाएगी। राज्य सरकार ने कर्मचारियों के लिए हाउस बिल्डिंग एडवांस की दरों, पात्रता और अधिकतम सीमा में संशोधन को भी मंजूरी प्रदान की है। यह एच.बी.ए. की अधिकतम सीमा अब मूल वेतन का 25 गुणा होगी। यानि अब कर्मचारियों को आवास निर्माण एवं खरीद के लिए अधिकतम 15 लाख रुपए तक ऋण मिलेगा। मंत्रिमंडल ने सोलन जिला के नालागढ़ में मैडीकल डिवाइस पार्क नालागढ़ के निर्माण के लिए हिमाचल प्रदेश राज्य औद्योगिक विकास निगम के पक्ष में अपनी स्वीकृति प्रदान की। इसके लिए केंद्र सरकार ने 100 करोड़ रुपए की ग्रांट उपलब्ध करवाने के लिए हामी भरी है। नालागढ़ में बनने वाले इस पार्क के विकसित होने पर 1,500 लोगों को रोजगार के अवसर उपलब्ध होने की संभावना है। बैठक में मुख्यमंत्री निर्णय लिया गया है कि हिमकेयर कार्ड की वैधता 1 वर्ष से बढ़ाकर 3 वर्ष होगी। इसके अलावा 392 लाभार्थी परिवारों जिन्होंने 2 वर्ष की प्रीमियम राशि दी है, उसको वापस लौटाया जाएगा। इस तरह 4,484 लाभार्थी परिवारों को लाभ होगा।
बरसात से मरे लोगों को मंत्रिमंडल की श्रद्धांजलि
मंत्रिमंडल ने प्रदेश में बरसात से मरे 32 लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। अब तक भारी वर्षा के कारण 6 लोग लापता भी है, जिनको तलाश करने के प्रयास जारी है। इसके अलावा 12 लोग घायल हुए हैं। सरकार ने पीडि़त परिवार को हर संभव राहत प्रदान करने और शोक संतप्त परिवार के प्रति अपनी गहरी संवेदना भी प्रकट की। मंत्रिमंडल ने शीघ्र ही बरसात से हुए नुकसान का आकलन करके केंद्र को भेजने का निर्णय लिया, ताकि केंद्रीय टीम प्रदेश का दौरा करके उचित मदद उपलब्ध करवा सके।
मनरेगा के लिए नहीं मिल रहा सीमैंट, सरकार ने 3 दिन में रिपोर्ट मांगी
मंत्रिमंडल में मनरेगा सहित अन्य कार्यों के लिए सीमैंट की सप्लाई नहीं मिलने पर ङ्क्षचता जताई। इस कारण ग्रामीण विकास विभाग की तरफ से किए जाने वाले मनरेगा सहित अन्य सरकारी कार्यों में दिक्कतें आ रहे हैं। बैठक में मुख्य सचिव को निर्देश दिए गए कि इस संदर्भ में 3 दिन के भीतर सरकार को रिपोर्ट दे तथा व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त करने के लिए सभी प्रभावी पग उठाए।